महान भारतीय इंजीनियर भारत रत्न सर एम विश्वेश्वरय्या के याद में भारत में हर साल 15 सितंबर को इंजीनियर्स डे मनाया जाता है। मोक्षगुंडम विश्वेश्वरय्या एक महान इंजीनियर थे और उनके बेहतरीन कार्यों के लिए
उन्हें साल 1955 में
भारत रत्न से सम्मानित किया गया था। देश भर में बने कई नदियों के बांध, ब्रिज और पीने के पानी
की स्कीम को कामयाब बनाने के पीछे विश्वेश्वरय्या का बहुत बड़ा हाथ है। इन्हीं के
कारण देश में पानी की समस्या दूर हुई थी।
विश्वेश्वरय्या को लोग दक्षिणी बंगलुरु में स्थित
जयानगर इलाके का डिजाइन और उसकी योजना बनाने के लिए जानते हैं। एशिया के बेस्ट
प्लान्ड लेयआउट्स में एक जयानगर है जिसका डिजाइन विश्वेश्वरय्या ने ही किया था।
अगर बात की जाए भारत में इंजीनियर्स की स्थिति
की तो भारत हर साल 20 लाख इंजीनियर्स को तैयार करता है जिसमें कंप्यूटर साइंस, इलेक्ट्रॉनिक्स, सिविल और मैकेनिकल
इंजीनियरिंग शामिल है। भारत आईटी के क्षेत्र में दुनिया का अग्रणी देश है और इसलिए
यहां आईटी इंजीनियर्स की भारी संख्या है।
एक रिपोर्ट के मुताबिक, देश के तमाम तकनीकी
शिक्षा संस्थानों में इंजीनियरिंग की पढ़ाई करने वाले करीब आठ लाख छात्रों में से 60 फीसदी हर साल बेरोजगार
रह जाते हैं।
2016-17 में 66 प्रतिशत आईआईटी स्नातकों को
कैंपस प्लेसमेंट नहीं मिला। 2015 में यह आंकड़ा 79 प्रतिशत था। जबकि 2014-15 में ये आंकड़ा 78 प्रतिशत था।